कमलुवागांजा स्थित रामलीला मैदान में सोमवार देर रात परशुराम संवाद के दौरान अधिवक्ता उमेश नैनवाल की गोली मारकर हत्या कर दी गई। सनसनीखेज वारदात को अंजाम देने बाद आरोपी चचेरा भाई दिनेश नैनवाल मौके पर तमंचा फेंककर फरार हो गया। हत्यारोपी कमलुवागांजा स्थित एक पब्लिक स्कूल का मालिक बताया जा रहा है।
पुलिस के मुताबिक, ग्राम पूरनपुर नैनवाल, लामाचौड़ निवासी 45 वर्षीय अधिवक्ता उमेश नैनवाल पुत्र मोहन चंद्र नैनवाल और उनके चचेरे भाई दिनेश नैनवाल का पिछले करीब डेढ़ साल से घर से लगी करीब 20 बीघा जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। बताया जा रहा है कि सोमवार देर रात कमलुवागांजा में श्री आदर्श रामलीला कमेटी की तरफ से चल रही रामलीला में उमेश का बड़ा बेटा परशुराम का किरदार निभा रहा था।
रात करीब 11.30 बजे कार्यक्रम में उमेश और उनके चचेरे भाई दिनेश नैनवाल के बीच कहासुनी काफी बढ़ गई। इसी दौरान दिनेश ने तमंचा निकालकर उमेश के पीठ में फायर झोंक दिया। गोली लगते ही उमेश जमीन पर गिर पड़े। घटना के बाद दिनेश मौके पर ही तमंचा फेंककर फरार हो गया। आसपास के लोगों ने गंभीर घायल उमेश को कुसुमखेड़ा स्थित सेंट्रल अस्पताल पहुंचाया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। सूचना मिलते ही एसएसपी पीएन मीणा और सीओ नितिन लोहनी भी घटनास्थल का मुआयना करने पहुंच गए। बताया गया है कि अधिवक्ता उमेश नैनवाल हल्द्वानी एसडीएम कोर्ट में प्रैक्टिस करते थे।
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