सुमन बृष्टि नभ संकुल भवन चले सुखकंद, चढ़ी अटारिन्ह देखहिं नगर नारि नर बृंद

ख़बर शेयर करें

अद्भुत उल्लास और उमंग के बीच पांच सदियों की प्रतीक्षा 84 सेकंड की प्राण प्रतिष्ठा अनुष्ठान में समाप्त हो गई। सक्षम-दिव्य भारत के नए संकल्प के साथ रामलला और उनके नवीन विग्रह मंदिर में प्राण प्रतिष्ठित हो गए। वेद मंत्रों के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अनुष्ठान संपन्न किए गए। 11 दिन से व्रत-तपस्या कर रहे प्रधानमंत्री मंदिर निर्माण से भाव विभोर थे। उन्होंने कहा, कालचक्र बदला है, अभी और बदलेगा।

यह भी पढ़ें 👉  इस वक्त की बड़ी खबर::प्रधानमंत्री ने तीनों सेना प्रमुखों को दी खुली छूट

रामलला हुए प्राण प्रतिष्ठित सोमवार सुबह मंगलगान से प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम का शुभारंभ हुआ। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सुबह 1025 बजे अयोध्या पहुंचे और रामनाम की प्रतिध्वनियों के बीच दिव्य-नव्य गर्भगृह में प्रवेश किया। सर्वप्रथम आचार्यों ने संकल्प, आह्वान, नवग्रह पूजा, षोडशोपचार पूजा संपन्न कराई।

संघ प्रमुख मोहन भागवत, राज्यपाल आनंदी बेन पटेल, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में प्रधानमंत्री ने उन पलों को जीवंत किया, जिसकी प्रतीक्षा 500 वर्ष से की जा रही थी। श्रीविग्रह के अद्भुत, दिव्य-मांगलिक शृंगार के प्रथम दर्शन होते ही श्रीरामचंद्र कृपालु भजमन की स्तुति गूंज उठी। इसके पश्चात प्रधानमंत्री सहित सभी अतिथियों ने रामलला की आरती की। दोपहर 105 बजे प्राण प्रतिष्ठा पूर्ण हुई। बहुप्रतीक्षित इस दृश्य के प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से करोड़ों लोग साक्षी बने। इसके बाद प्रधानमंत्री मोदी ने अपना संबोधन दिया। उन्होंने पवनपुत्र से लेकर सीता, सरयू, भरत, लक्षण व शत्रुघ्न को प्रणाम किया।

यह भी पढ़ें 👉  जंगल की आग पर बारातियों पर कार्रवाई

सुमन बृष्टि नभ संकुल भवन चले सुखकंद।

चढ़ी अटारिन्ह देखहिं नगर नारि नर बृंद॥

(भावार्थ आनन्दकन्द श्रीरामजी अपने महल को चले, आकाश फूलों की वृष्टि से छा गया। नगर के स्त्रत्त्ी-पुरुषों के समूह अटारियों पर चढ़कर उनके दर्शन कर रहे हैं॥)

Join WhatsApp Group

You cannot copy content of this page